जोधपुर में कई व्यक्तियों ने अश्लील वीडियो और तस्वीरों के आधार पर ब्लैकमेलिंग की शिकायतें दर्ज कराई हैं। ये सामग्री आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस द्वारा बनाई जा रही है.
तकनीक का दुरुपयोग
तकनीक का उद्देश्य लोगों के जीवन को सरल बनाना है, लेकिन अब ऐसी तकनीकें सामने आई हैं जो गलत उद्देश्यों के लिए भी इस्तेमाल हो रही हैं। डीप फेक इसी का एक उदाहरण है.
ब्लैकमेलिंग के मामले
जोधपुर में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की सहायता से कई युवाओं को ब्लैकमेल करने की घटनाएं सामने आई हैं। जहां कई सेलेब्स इस तकनीक के शिकार हुए हैं, वहीं आम लोग भी इससे प्रभावित हो रहे हैं. उनके फोटो का उपयोग कर अश्लील वीडियो बनाकर उन्हें ब्लैकमेल किया जा रहा है.
एक लड़की की कहानी
जोधपुर के एक प्राइवेट कॉलेज में पढ़ने वाली एक छात्रा को एक युवक लंबे समय से परेशान कर रहा था। जब उसने उसे ब्लॉक किया, तो युवक ने डीप फेक का उपयोग कर उसके अश्लील वीडियो बनाए और उन्हें वायरल कर दिया. इसी तरह एक अन्य महिला के साथ भी ऐसा हुआ, जहां उसके पूर्व प्रेमी ने उसकी अश्लील तस्वीरें और वीडियो बनाकर साझा कर दिए.
सावधानी बरतें
यदि आप ऐसी घटनाओं से बचना चाहते हैं, तो सावधानी बरतना आवश्यक है। अपने सोशल मीडिया अकाउंट को सुरक्षित रखें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की रिपोर्ट करें. साइबर विशेषज्ञों के अनुसार, पिछले छह महीनों में ऐसे तीस से अधिक ऐप्स का पता चला है जो इस प्रकार की सामग्री बनाने में मदद करते हैं, जिन्हें गूगल ने बैन कर दिया है.
सुरक्षा उपाय
सोशल मीडिया पर अपनी जानकारी को सुरक्षित रखना बेहद जरूरी है। यदि आप डीप फेक के शिकार बनते हैं, तो तुरंत साइबर सेल को सूचित करें.
जोधपुर पुलिस की भूमिका
जोधपुर पुलिस ने इस प्रकार की शिकायतों पर गंभीरता से ध्यान दिया है और कार्रवाई करने के लिए तत्पर है.
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