पंजाब, 25 मई . पंजाब राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद ने जिला शिक्षा विभाग (एससीईआरटी) के अधिकारियों के एक समूह को एक पत्र जारी किया है. इस पत्र में ‘भारतीय भाषा समर कैंप’ के दौरान स्कूली बच्चों को तेलुगू भाषा सिखाने का उल्लेख है. अमृतसर से डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट यूनियन पंजाब के नेता अश्विनी अवस्थी ने इसे सरकार का तुगलकी फरमान बताया. पत्र में कहा गया है कि ग्रीष्मकालीन शिविर के दौरान सरकारी स्कूलों के कक्षा 6 से 10 तक के विद्यार्थियों की भागीदारी सुनिश्चित की जानी है तथा उन्हें तेलुगू की बुनियादी जानकारी और ज्ञान प्रदान किया जाना है.
डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट यूनियन पंजाब के नेता अश्विनी अवस्थी ने इस पर मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि सबसे पहले तो हमारे शिक्षकों को तेलुगू भाषा नहीं आती, तो वे बच्चों को कैसे पढ़ाएंगे? भाषा बिल्कुल भी बुरी नहीं है, लेकिन हमें उस देश की भाषा का प्रयोग करना चाहिए, जिसमें हम रहते हैं. विशेषकर हमारी पंजाबी हर जगह बोली जाती है. भारत में पंजाबी की लिपि गुरमुखी है, तो पाकिस्तान में शाहमुखी है.
उन्होंने कहा कि अगर सरकार तेलुगू भाषा को लागू करना ही चाहती है, तो उन्हें तेलुगू बोलने वाले शिक्षकों को पंजाब लेकर लाना चाहिए. हमारे बच्चे पंजाबी, हिंदी और अंग्रेजी भाषा में पूरा ध्यान नहीं दे रहे हैं, और चौथी भाषा तेलुगू में कैसे ध्यान देंगे? कुछ दिनों में स्कूल बंद कर दिए जाएंगे. हम इस भाषा को इतने कम समय में कैसे लागू कर सकते हैं?
उन्होंने कहा कि यह सरकार तीन साल से सत्ता में है. अगर उन्हें तेलुगू भाषा लागू करनी होती, तो वे तब इस बारे में सोचते. सरकार के फरमान सिर्फ कागजों तक ही सीमित हैं, इससे अधिक कुछ नहीं है. सीमावर्ती क्षेत्रों के स्कूलों के लिए सीमा भत्ता भी बंद कर दिया गया है.
उन्होंने कहा कि कोई भी भाषा बुरी नहीं होती. पंजाब में भी चार-पांच प्रकार की बोलियां हैं, जिनमें मालवई, माझा या दोआबा प्रमुख हैं.
उन्होंने कहा, “हमारे मंत्रिगण भी अंग्रेजी में पत्र जारी करते हैं, पंजाबी में नहीं. जब वे भी पंजाबी मातृभाषा का पूर्ण प्रचार नहीं करते, तो आम लोग कैसे करेंगे? हर देश कहता है, हमारे साथ हमारी भाषा में व्यापार करो. हमारी सरकार सिर्फ विज्ञापन तक ही सीमित रह गई है, वह और कुछ नहीं देख सकती.”
राज्य सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि पंजाब में जो विकास कार्य होने थे, उन्हें रोक दिया गया है. जिस सरकार को यह काम करना चाहिए, वह नए-नए फरमान जारी कर रही है.
–
एएसएच/केआर
The post first appeared on .
You may also like
नारियल तेल समेत इन चीजों से पाएं फटी एड़ियों से राहत, अपनाएं ये आसान घरेलू उपाय
राइजिंग नॉर्थईस्ट इन्वेस्टर्स समिट 2025 : 4 लाख करोड़ रुपए से अधिक के निवेश प्रस्ताव मिले, 8 एमओयू हुए साइन
मुकुल देव की कोरोना के डर ने ली जान! 125 Kg हो गया था वजन, 'सन ऑफ सरदार 2' के को-स्टार विंदू का खुलासा
बॉलीवुड में नए निर्देशकों पर स्टार्स क्यों लगा रहे हैं दांव? 'सन ऑफ सरदार 2' से लेकर 'धड़क 2' तक हैं शामिल
Big Conspiracy By China Against India: भारत के खिलाफ ये बड़ी साजिश रच रहा चीन!, अमेरिका की खुफिया रिपोर्ट में दावा, कहा- पाकिस्तान भी परमाणु जखीरे को बना रहा आधुनिक